दमोह/पथरिया विधानसभा क्षेत्र में लोगों को पानी जैसी मूलभूत सुविधा के लिए कलेक्टर और एसडीएम कार्यालयों के चक्कर लगाने पड़ रहे हैं. यह निश्चित रूप से एक गंभीर समस्या है और इससे पता चलता है कि स्थानीय प्रशासन लोगों की बुनियादी ज़रूरतों को पूरा करने में कहीं न कहीं विफल हो रहा है.
पानी जीवन के लिए अत्यंत आवश्यक है और इसका अभाव लोगों के स्वास्थ्य, आजीविका और समग्र जीवन स्तर पर नकारात्मक प्रभाव डालता है. ऐसी स्थिति में, लोगों को अपनी इस बुनियादी ज़रूरत के लिए बार-बार सरकारी कार्यालयों के चक्कर लगाना पड़ना बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है. यह दर्शाता है कि प्रशासनिक प्रक्रियाएं जटिल और धीमी हैं, और शायद जवाबदेही की भी कमी है.
लोगों के लिए पानी उपलब्ध कराना “पुण्य का काम” ही नहीं, बल्कि सरकार और स्थानीय प्रशासन का प्राथमिक दायित्व है. यदि लोग पीने के पानी के लिए निवेदन करने को मजबूर हैं, तो यह व्यवस्थागत खामियों को उजागर करता है. इस मुद्दे पर तुरंत ध्यान देने और ठोस समाधान निकालने की आवश्यकता है ताकि पथरिया विधानसभा के निवासियों को इस मूलभूत सुविधा के लिए संघर्ष न करना पड़े l
